7 Mukhi Rudraksha:सात मुखी रुद्राक्ष अनंत नाम से विख्यात है। इसको धारण करने वाला किसी भी विषबाधा का शिकार नहीं बनता। यह सर्व पापो को नाश करता है और सुख समृद्धि का लाभ प्राप्त करवाता है। गुप्तधन प्राप्ति ,शत्रुनाश आदि प्रकार के लाभ प्रदान करता है। इसे धारण करने से मनुष्य कीर्तिमान होकर उत्तरोत्तर प्रगति पथ पर चलता है।
सात मुखी रुद्राक्ष सप्त ऋषियों का स्वरूप है। ऋषिजन हमेशा संसार के कल्याण में कार्यरत् रहते हैं, इस प्रकार से सात मुख वाले रुद्राक्ष पहनने मात्र से ही सप्त ऋषियों का सदा आशीर्वाद रहता है, जिससे मनुष्य का सदा कल्याण होता है। इसके साथ ही यह सात माताओं ब्राह्मणी, माहेश्वरी ,कौमारी, वैष्णवी, इन्द्राणी, चामुण्डा का मिला-जुला रूप भी है। इन माताओं के प्रभाव से यह पूर्ण ओज, तेज, ज्ञान, बल तथा सुरक्षा प्रदान करके आर्थिक, शारीरिक तथा मानसिक परेशानियों को दूर करता है। यह उन सात आवरणों का भी दोष मिटाता है जिससे मानव शरीर निर्मित होता है यथा – पृथ्वी, जल, वायु, अग्नि, आकाश, महत्त्व तथा अहंकार।
सात मुखी रुद्राक्ष धन-सम्पत्ति, कीर्ति तथा विजयश्री प्रदान करने वाला होता है। इसको धारण करने से धनागम बना रहता है साथ ही व्यापार- नौकरी में भी उन्नति होती है। यह रुद्राक्ष सात शक्तिशाली नागों का भी प्रिय है। सात मुखी रुद्राक्ष साक्षात् अनंग स्वरूप है, अनंग को कामदेव के नाम से भी जाना जाता है, इसलिये इसको पहनने से मनुष्य स्त्रियों के आकर्षण का केन्द्र बना रहता है और पूर्ण स्त्री सुख मिलता है। इसको पहनने से स्वर्ण चोरी के पाप से मुक्ति मिलती है।
सात मुखी रुद्राक्ष को महालक्ष्मी ,कामदेव ,सप्तऋषि और सात दिव्या सर्पो से भी जोड़ा जाता है। इसके अलावा यह शनि ग्रह को संतुलित करता है।
सात मुखी रुद्राक्ष कैसा होता है(how to identify 7 mukhi rudraksha)

सात मुखी रुद्राक्ष में 7 धारियाँ बनी होती है।आकार में यह गोल होता है। यह इंडोनेशिया ,नेपाल और भारत में पाया जाता है। इंडोनेशिया 7 mukhi rudraksha का आकार छोटा होता है ,उससे बड़ा भारत का और फिर नेपाली रुद्राक्ष का आकार होता है।
सात मुखी रुद्राक्ष पहनने के फायदे(७ Mukhi Rudraksha Benefits)
7 मुखी रुद्राक्ष के कुछ अनुभव जो लोगो को प्राप्त हुए-
- यह क्रूर गृह शनि को शांत करने का एक अच्छा उपाय है। यह शनि की दशा या साढ़ेसाती में एक कारगार उपाय है।
- यह मणिपुर चक्र(Solar Plexus Chakra) को बेहतर करता है।
- यह संकट के समय कष्टों को दूर करता है।
- यह धन ,विलासिता और आराम की स्थिति को बेहतर करता है। व्यापार में यह व्यापार को नयी ऊंचाइयों पर पहुँचता है।
- यह विघ्न ,कठिनाइयों और चिंताओं को दूर करता है।
- इस रुद्राक्ष की कृपा से आपको अपनी मेहनत का फल मिलता है।
- यह चिंता, तनाव, अवसाद और नींद संबंधी विकारों को दूर करता है।
- यह मिथ्या अहंकार, अति सक्रियता, ईर्ष्या और अन्य दुष्ट भावनाओं को दूर करता है।
- यह दिमाग को विकसित, समझदार और विवेकपूर्ण बनाता है, इस प्रकार निर्णय लेने और समस्या सुलझाने के कौशल में सुधार करता है।
- यह एक स्थिर जीवन, करियर और रिश्तों को बेहतर कर उन्हें संतुलित करता है।
- यह आपके कार्य क्षेत्र में जनता या ग्राहक को आपसे जोड़ता है उनका समर्थन प्राप्त करवाता है।
- सात मुखी रुद्राक्ष को एक ताबीज की तरह देखा जाता है जो बुरी नजर, काला जादू, तांत्रिक हमलों और सर्पदंश के खतरे से बचाता है।
सात मुखी रुद्राक्ष किस लग्न के लोग पहन सकते है
7 मुखी रुद्राक्ष को कोई भी लग्न का व्यक्ति धारण कर सकता है। लेकिन जिस लग्न में शनि कारक है और भाग्य या पंचम का स्वामी है उसमे विशेष लाभ मिलता है। कुम्भ ,तुला ,मिथुन ,कन्या और मकर लग्न के जातको को धारण करना चाहिए। इसके अलावा अगर आप नीलम धारण नहीं कर सकते या शनि ६-८-१२ का स्वामी हो तो भी ७ मुखी रुद्राक्ष धारण करना चाहिए।
सात मुखी रुद्राक्ष धारण करने का मंत्र(7 Mukhi Rudraksha Mantra)
सात मुखी रुद्राक्ष को धारण करने का मंत्र “ॐ हुं नमः” है । इसे धारण करने के लिए रुद्राक्ष की माला से १०८ बार जप करना होता है।
ॐ ह्रीं कीं ग्लौं ह्रीं सौ। इति मंत्रः।
सात मुखी रुद्राक्ष विनियोग मंत्र(7 Mukhi Rudraksha Viniyoga Mantra)
अस्य श्रीअनंतमंत्रस्य भगवान् ऋषिः गायत्रीछन्दः अनन्तोदेवता कीं बीजं ह्रीं शक्तिः अभीष्टसिध्यर्थे रुद्राक्षधारणार्थे जापे विनियोगः। भगवान् ऋषिः नमः शिरषि। गायत्री छन्दसे नमो मुखे। अनंत देवताये नमो हृदि। कीं बीजाय नमो गुह्रो। ह्रीं शक्तये नमः पादयोः।
अथ करन्यासः(7 Mukhi Rudraksha Karnyas Mantra)
ॐ ॐ अंगुष्ठाभ्यां नमः।
ॐ ह्रीं तर्जनीभ्यां स्वाहा।
ॐ कीं मध्यमाभ्यां वषट।
ॐ ग्लौं अनामिकाभ्यां हुं।
ॐ ह्रीं कनिष्ठिकाभ्यां वौषट।
ॐ सौं करतलकरपृष्ठाभ्यां फट ।।
अथाङ्ग न्यासः ( 7 Mukhi Rudraksha Nyas Mantra)
ॐ ॐ हृदयाय नमः। ॐ ह्रीं शिरसे स्वाहा। ॐ कीं शिखाए वषट।
ॐ ग्लौं कवचाय हुं। ॐ ह्रीं नेत्रत्रयाय वौषट। ॐ सौं अस्त्राये फट।।
अथ ध्यानम (7 Mukhi Rudraksha Dhyanam)
अनंत पुण्डरीकाक्षं फणाशतविभूषितम।
विश्वाकबंधुक आकारं कूर्मरूढ़ प्रपूज्येत।।
सात मुखी रुद्राक्ष किस ग्रह के लिए है(7 Mukhi Rudraksha Planet)
7 मुखी रुद्राक्ष को शनि ग्रह के लिए धारण किया जाता है। अगर आप नीलम नहीं ले पा रहे या कुंडली में शनि अशुभ की स्थिति में नीलम धारण नहीं किया जा सकता तो ७ मुखी रुद्राक्ष की माला या 7 मुखी रुद्राक्ष धारण कर सकते है। सात मुखी रुद्राक्ष शनि के अशुभ प्रभाव को काम करता है।
सात मुखी रुद्राक्ष प्रदीप मिश्रा जी(7 Mukhi rudraksha By Pradeep Mishra)
शिवपुराण कथावाचक पंडित प्रदीप मिश्रा जी ने अपनी कथा में ७ मुखी रुद्राक्ष के बारे में कहा है की –
“सात मुखी रुद्राक्ष ऐसा रुद्राक्ष है जो गरीब से गरीब ,कोई ठेला चलने वाला हो व्याप्पर नहीं चल रहा हो ,बहुत हताश हो गया हो तो सात मुखी रुद्राक्ष को लाल धागे में धारण करने वाला थोड़ा सम्पदावान धन की और अग्रणी बढ़ता है।”
सात मुखी रुद्राक्ष की कीमत(7 Mukhi Rudraksha Price)
7 मुखी रुद्राक्ष आपको 300 रुपये के आस पास मिल जायेगा। जो नेपाली 7 मुखी की कीमत है। कुछ बेहतर गुणवत्ता का सात मुखी रुद्राक्ष जो नेपाली बड़े आकार का होता है उनकी कीमत १०००-२००० रुपये के आस पास होती है ।
यह भी पढ़े:एक मुखी रुद्राक्ष के अद्भुत लाभ।
यह भी पढ़े:शुक्र के लिए छः मुखी रुद्राक्ष
आवश्यक जानकारी :7 Mukhi Rudraksha के बारे में जानकारी विभिन्न पुस्तकों और अनुभव के आधार पर प्रदान की गयी है। हम पाठको से अनुरोध करते है की रुद्राक्ष के तथ्यों पर अपना विवेक का प्रयोग अवश्य करे।
FAQ:
आंवला आकार का 7 Mukhi Rudraksha की कीमत क्या है ?
आंवला आकार का ७ मुखी नेपाली रुद्राक्ष २००० रुपये के आस -पास मिलता है।
क्या सात मुखी रुद्राक्ष को शनि साढ़े साती में धारण कर सकते है ?
7 Mukhi Rudraksha को शनि साढ़े साती में धारण करने से यह आपको बुरे प्रभावों से बचाता है।
७ मुखी इंडोनेशिया और ७ मुखी नेपाली रुद्राक्ष में कौन सा बेहतर है ?
नेपाली रुद्राक्ष का प्रभाव ही अधिक रहता है।
[…] में विजय प्राप्त होती है। जिस तरह से 7 मुखी रुद्राक्ष पहनने वालों की रक्षा सात मातायें करती […]
[…] के लिए आप ७ मुखी रुद्राक्ष और १४ मुखी रुद्राक्ष भी धारण कर सकते […]
[…] भी जानिए :7 मुखी रुद्राक्ष क्यों धारण करना चाहिएकुम्भ राशि के जीवन का संपूर्ण […]