मीन राशि राशियों में बारहवे स्थान की राशि है वही काल पुरुष की कुंडली में इसका स्थान बारहवे भाव में है। मीन राशि का प्रतिक मछली है। मछली जल का प्रतिक है और जल ही जीवन का प्रतिक है,जीवन में आवश्यक है । जल का सम्बन्ध भावनाओ से होता है। Pisces rashi के जातको के व्यक्तित्व में सब कुछ समां जाता है। इस राशि में एकात्म हो जाना और गहराई में समां जाना अपने कार्य को लेकर या अपने ज्ञान को लेकर ।
इस राशि के लोग दूसरे के मन को जानने का प्रयत्न करते है किसी की समस्या को जानने का प्रयत्न करते है ।लेकिन अगर इन्हे कोई पीड़ा भी दे तो उसे ज्यादा दिल से नहीं लगाते दिल पर नहीं लेते । यह राशि जल तत्व और द्विस्वभाव गुण वाली राशि है। जिसका जल समुद्र का है।समुद्र के जल में विशालता भी होती है और गहराई भी होती है। इसका स्वामी बृहस्पति है । यह राशि अपनने अलग अलग स्वाभाव को दर्शाती है जैसे गुरु का स्वाभाव हर स्थिति में अलग-अलग हो सकता है।

यह राशि एक नया बदलाव चाहती है और पुरानेपन को हटाना चाहती है।यह राशि भौतिक और आध्यात्मिक पहलु को बताती है।जीवन को चलने के लिए किसी एक पहलु की और होना होगा। अगर धर्म मार्ग पर चलते है तो कुछ चीजों का त्याग करना पड़ेगा। Meen Rashi ये सम्भावना प्रदर्शित करती है की जो जीवन में करना चाहते है वो कर सकते है।धनु राशि की तरह यह भी एक द्वी स्वाभाव राशि है।
मीन राशि के जातक का स्वाभाव(pisces characteristics)
इनकी आकृति अप्रभावशाली होती है, बेचेैन रहते हैं, कल्पनाशील ओर रोमांटिक होते हैं। ईमानदार और मानवीय, कभी शांत तो कभी क्रोधी होते है। अन्य की राय से प्रभावित रहते हैं, आत्म विश्वास में कमी होती है।
यह अत्याधिक सहानुभूतिपूर्ण, क्षमाशील, दयालु और भरोसेमंद होते हैं। स्वयं की योग्यता को पहचानते है जिसकी वजह से प्रगति में बाधा रहती है। परंपरावादी, अत्याधिक अंधविश्वासी, अकेले रहने वाले,या फिर ईश्वर भक्त, पक्के धार्मिक कर्मकांडी होते है। जंतुओं के कष्ट को भी नही देख सकते हे। और सहायता प्रदान करते हे। महत्वाकांक्षाओ की कमी रहती है, भौतिक जगत में प्रगति धीमी रहती है।
दो व्यवसाय साथ-साथ हो सकते हैं, नये कार्य में भी शीघ्र दक्ष हो जाते हैं। अच्छे कर्मचारी साबित होते हैं।घरेलू एवं व्यावसायिक जीवन आनंदमय होता है। जीवन की सुंदरता, ज्ञान और ललित कलाओं को प्राथमिकता देते है। प्रायः दो विवाह हो सकते हैं, जीवनसाथी का प्रभाव प्रबल रहता है।
मीन राशि के जातक की शारीरिक संरचना(pisces physical appearance)
मीन राशि के जातको का नाटा और मोटा शरीर, हाथ-पांव काफी छोटे होते हैं। केश मुलायम, गोरा रंग, चेहरा कांतियुक्त होता है। सुंदर और आकर्षक, आखें बड़ी-बड़ी, मजबूत गोलाकार कंधे, ठोड़ी में गड्ढ़ा होता है।इसमें जातक के रहन -सहन,हाव -भाव काफी अलग अलग प्रकार के होते है।
मीन राशि का चिन्ह(Pisces symbol)
मीन राशि का चिन्ह मछली होती है।जो एक दूसरे की ओर जाते हुए दिखाई देती है या कह सकते है की मार्ग का अनुसरण करती है।

मीन राशि का स्वामी(Pisces lord)
मीन राशि के स्वामी देवगुरु बृहस्पति होते है।
मीन राशि तत्व(Pisces element)
मीन राशि एक जल तत्व राशि है।
मीन राशि के इष्ट देवता(Pisces god)
वैसे तो देवगुरु बृहस्पति इस राशि के स्वामी होते है लेकिन अगर इष्ट की बात की जाये तो विष्णु जी (सभी अवतार ) मीन राशि के इष्ट देवता होते है।विष्णु जी को मत्स्य अवतार के रूप में जाना जाता है।
मीन राशि का रंग(Pisces Color)
मीन राशि का रंग पीला लिए होता है।लेकिन वैदिक ज्योतिष होरा में मीन राशि का रंग श्वेत बतलाया गया है। इन रंगो का इस्तेमाल जातक के लिए शुभ होता है।
मीन राशि का व्यवसाय( Pisces Carrier)
इस राशि के जातको को ब्राह्मण का कार्य , धर्मोपदेश का कार्य , धर्मार्थ संस्थान , धार्मिक व्यवसाय , कर्मकाण्ड , ज्योतिष , राजनीति , न्यायालय संबंधित कार्य , नयायाधीश , कानून , वकील , बैंकिंग कार्य , कोशाध्यक्ष , राजनीति , अर्थशास्त्र , पुराण , मांगलिक कार्य , अध्यापन कार्य , शिक्षक , शिक्षण संस्थाएं , पुस्तकालय , प्रकाशन , प्रबंधन , पुरोहित , शिक्षण संस्थाएं , किताबों से संबंधित कार्य , परामर्श कार्य , पीले पदार्थ , स्वर्ण , पुरोहित , संपादन , छपाई , कागज से संबंधित कार्य , व्याज कार्य , गृह निर्माण , उत्तम फर्नीचर, शयन उपकरण , गर्भ संबंधित कार्य, खाने पीने की वस्तुएं, स्वर्ण कार्य , वस्त्रोंसे संबंधित ,सभी प्रकार के फल , मिठाइयाँ इत्यादि |
यह कार्य राशि के सामान्य गुण अनुसार बतलाये गए है। लेकिन व्यवसाय उस स्थिति पर भी निर्भित होता है जब कोई ग्रह अच्छे भाव में हो या कोई अन्य ग्रह बलवान हो। तो उस ग्रह के अनुसार भी आपकी कार्य शैली रहेंगी।
मीन राशि के संभावित रोग( Pisces disease)
इनमे उदर रोग, घुटनों और पैरों की चोट की सम्भावना होती है।
मीन राशि में उच्च ,नीच और मूल ग्रह(Pisces planets)
मीन राशि शुक्र की उच्च राशि है। वही बुध मीन राशि में नीच का हो जाता है। तथा मीन गुरु की मूल राशि है।
मीन राशि के लिए मंत्र( Pisces Rashi Mantra)
|| ॐ क्लीं उद् धृताय उद्धारिणे नमः ||

इस मंत्र का प्रति दिन १ माला जाप करना चाहिए। इसके अलावा श्री कृष्णा मंत्र ॐ नमो भगवते वासुदेवाय का भी जाप किया जा सकता है।
मीन राशि के लिए धातु(metal)
मीन राशि के लिए सोना मूल धातु मानि गयी है।
मीन राशि के लिए रत्न(Pisces Gemstone)
मीन राशि के लिए पुखराज मूल रत्न मन गया है।पुखराज के उपरत्न के तौर पर सुनहला रत्न को भी प्रयोग में बताया गया है। लेकिन यह कुंडली में लग्न और कारक ग्रहो और सम्पूर्ण कुंडली को जानकर ही पहनने के योग्य होता है।
मीन राशि के लिए रुद्राक्ष(Pisces Rudraksh)
मीन राशि के लिए पाँच मुखी रुद्राक्ष को धारण करने के बारे में बताया गया है।पांच मुखी रुद्राक्ष से गुरु को बल मिलता है।
मीन राशि नाम अक्षर(Pisces starting name letter in hindi)
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार जिन लोगों के नाम का पहला अक्षर दी,दू,थ,झ, दे, दो, चा, जी होता है वे मीन राशि के होते हैं।
FAQ:
क्या मीन राशि के जातक इसके रत्न को धारण कर सकते है
नहीं ,पुखराज धारण करने के लिए कुंडली का अध्ययन आवश्यक है।
क्या मीन राशि के जातक ५ मुखी रुद्राक्ष धारण कर सकते है ?
हाँ ,पांच मुखी रुद्राक्ष हर कोई धारण कर सकता है।
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